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स्वयं सेवी संस्थाओं ने उठाया गोंडा शहर की सफाई का जिम्मा

ग्रीन वैन उठा रही कचरा

5 मई को शहरी विकास मंत्रालय 434 जिलों की स्वच्छता सर्वेक्षण का रिपोर्ट कार्ड जारी करता है। जिसमें उत्तर प्रदेश का गोंडा जिला आखिरी पायदान पर होता है। पहले 100 में भी बस एक जिला दिखता है। गोंडा के साथ ही देश की नजरें इस ओर पडती हैं और सबसे ज्यादा धक्का यहां के शहरी लोगों को लगता है। तीखी प्रतिक्रियाओं से पूरा सोशल मीडिया पट जाता है और कुछ दिन पूर्व 15 अप्रेल को ही गोंडा की एक स्वयं सेवी संस्था जोकि रानीबाजर इलाके के व्यवसायियों की पहल से ग्रीन वैन के जरिये “ग्रीन गोंडा, क्लीन गोंडा” की मुहीम शुरू कर चुका था।उसतक जब ये सर्वेक्षण का नतीजा पहुंचता है तो उस संस्था के सदस्यों के मन में भी इस मुहीम को सम्पूर्ण शहर में शुरू करने की इच्छा जाग्रत होती है। आज ग्रीन वैन को गोंडा के हर घर तक पहुंचाने की मुहीम में ये संस्था स्वयं के आर्थिक स्रोतों से कार्य करने में जुट चुकी है और इस मुहीम से गोंडा जिले को पहले १०० स्वच्छ शहरों में जिले को पहुंचाने का लक्ष्य है।

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