पिछले दो दशकों में भारत देश में बढे सोशल मीडिया के उपयोग के कारण मोबाइल भारत देश की जनता का आवश्यक अंग बन गया हैं।
और इसी कारण देश की लगभग 80प्रतिशत जनता द्वारा अपनी दैनिक जीवन की हर छोटी से छोटी गतिविधि को सोशल मीडिया पर प्रसारित करना एक प्रकार का प्रचलन हो गया।जो भारत देश के शिक्षित और समझदार नागरिकों द्वारा भी किया जाने लगा।
लेकिन प्रतिद्वंदिता और देश से ओतप्रोत इस परिवेश में आम नागरिकों द्वारा अपनी और अपने परिवार की दैनिक दिनचर्या को सोशल मीडिया पर प्रसारित करने से दूषित मानसिकता के लिबास में निवास करने वाले दरिंदे सोशल मीडिया पर प्रसारित की गई इन छोटी-छोटी गतिविधियों के माध्यम से समस्त परिवार की सम्पूर्ण जानकारी प्राप्त करके दर्दनाक और दिल दहलाने वाली घटनाओं को अंजाम देने में कामयाब हो रहे हैं।
इसलिए आज बर्तमान परिवेश देश के हर शिक्षित और समझदार व्यक्ति को यह समझना आवश्यक हो गया है कि हमारे द्वारा सोशल मीडिया पर प्रसारित की जाने वाली हर पारिवारिक गतिविधि कही आपको या आपके परिवार को जोखिम में तो नही डाल रहा क्योकि आज के समय मे होने वाली हर आपराधिक घटना में सोशल मीडिया एक महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन कर रहा हैं।
शेष क्षम्य
एड. नवीन बिलैया(निक्की भैया)
सामाजिक एवं लोकतांत्रिक लेखक