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आर्थिक पैकेज सहित कुछ बड़े ऐलान जिनकी घोषणा वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने की

निर्मला सीतारमण

निर्मला सीतारमण

कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण इकॉनोमिक स्लो डाउन की स्थिति आ गई है। शेयर मार्केट में भी हड़कंप मचा हुआ है। इन सबके बीच कल यानी मंगलवार को  वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके कुछ ज़रूरी बातें साझी की।

उन्होंने इन्कम टैक्स 2018-19 की ब्याज़ दर को घटाकर 12-9% किया लेकिन 2020-21 के टैक्सों को यथावत रखा। साथ ही इनकम टैक्स भरने की समयावधि को बढ़ाकर 30 जून 2020 किया जो कि 31 मार्च 2020 थी।

किए गए कई बड़े ऐलान

निर्मला सीतारमण। फोटो साभार- सोशल मीडिया

टीडीएस की ब्याज़ दर को 18% से घटाकर 9% रखने की घोषणा की गई। साथ ही इसकी समयावधि को भी 31 मार्च से 30जून 2020 तक बढ़ाया गया। आधार, पैन कार्ड लिंक करवाने की तिथि को भी 30 जून 2020 किया गया।

विवाद से विश्वास स्कीम की तिथि को भी 30 जून किया गया। इसमें नियम है कि 31 मार्च के बाद आवेदन फाइल करने पर 10% चार्ज अधिक लिया जाता था जिसे अभी के लिए हटा दिया गया।

किसी भी तरह की नोटिफिकेशन अप्रूवल, रिटर्न फाइल, स्टेटमेंट कैपिटल गेन आदि की तिथि को भी 30 जून 2020 किया गया जो कि 20 मार्च 2020 थी।

जीएसटी रिटर्न 2020 और मुद्रा योजना के अंतर्गत भरे जाने वाले रिटर्न्स को भी 30 जून 2020 किया गया है। सालाना 5 करोड़ से नीचे वाली किसी भी मध्यम लघु इकाई को रिटर्न भरते समय कोई पेनल्टी नहीं देनी होगी।

मिनिस्ट्री ऑफ कम्पनी एक्ट के तहत कौन सी राहत दी गई?

प्रतीकात्मक तस्वीर। फोटो साभार- सोशल मीडिया

साथ ही 5 करोड़ से ऊपर वाली इकाइयों पर 30 जून के बाद अगले 15 दिनों तक कोई पेनल्टी नहीं चुकानी होगी और यदि लगाई भी जाती है तो उसकी दर 9% ही रखी जाएगी। रिटर्न भरने की अलग-अलग तारीखें होंगी जिन्हें जीएसटी फाइल करते वक्त चुना जाएगा।

‘सबका विश्वास’ योजना में अप्रत्यक्ष टैक्स भरे जाने की सीमा को भी 30 जून किया गया है। साथ ही जिनकी आय 1.5 करोड़ से नीचे होगी उन्हें कोई ब्याज़ नहीं चुकाना होगा।

मिनिस्ट्री ऑफ कम्पनी एक्ट के तहत भी कई राहतें दी गई हैं। बोर्ड मीटिंग को 6 महीने के लिए स्थगित किया गया है जो कि हर तिमाही में अनिवार्य होती है। ऑडिट रिपोर्ट को 2020-21 कर दिया गया है।

नई कम्पनी के डिक्लियरेशन की अवधि को 1 वर्ष कर दिया गया है जो कि 6 माह थी। नॉन कम्प्लायन्स रेज़ीडेंसी एक्ट 149 के अंतर्गत 182 दिन रहना अनिवार्य था जिसे अब नियम तोड़ना नहीं माना जाएगा।

मत्स्यपालन पर भी बड़ी घोषणाएं

फोटो साभार- सोशल मीडिया

इंसोल्वेंसी और बैंकरप्सी कोर्ट की चूक जिसकी सीमा पहले 1 लाख थी, उसे 1 करोड़ कर दिया गया है। ये कदम सूक्ष्म, मंझोले, लघु उद्योगों के लिए लिए गए हैं।

यदि यही स्थिति रहती है तब इंसोल्वेंसी (दिवालिया) बैंक करप्शन सेक्शन 7, 9, 10 को 6 महीने के लिए ससपेंड किया जा सकता है। जिससे ज़्यादा से ज़्यादा कम्पनी को लाभ मिल सके।

मत्स्यपालन के लिए सैनेटरी इम्पोर्ट परमिट जो कि 1 मार्च 2020 से 15 अप्रैल 2020 तक थे, उन्हें भी 3 महीने के लिए बढ़ा दिया गया है।

बैंकिंग पर विशेष ज़ोर देते हुए वित्तमंत्री ने कहा बहुत आवयश्क हो तभी बैंक जाएं। उन्होंने डेबिट कार्ड होल्डर्स को सुविधा देते हुए कहा कि किसी भी बैंक से पैसे निकालने पर कोई भी चार्ज नहीं लिया जाएगा।

साथ ही मिनिमम बैलेंस रखने की सीमा को तीन महीने तक के लिए ससपेंड कर दिया गया है। BHIM यूपीआई के अधिक से अधिक उपयोग और बैक शाखाओं में जाने से परहेज़ करने की बात कही।


संदर्भ- https://bit.ly/2vOlPN5

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