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बॉय्ज़ लॉकर रूम और सफूरा का चरित्र हनन रेप कल्चर से उपजी सोच है

कल इस देश में दो अलग-अलग घटनाओं पर चर्चाएं चल रही थी, पर दोनों के पीछे छिपी मानसिकता एक थी। पहली घटना थी इंस्टाग्राम पर ज़मीन से अभी पूरे भी नहीं निकले स्कूल के लड़कों का ग्रुप #boyslockerroom और दूसरी सफूरा ज़रगर। पहले इन दोनों घटनाओं के बारे में ब्रीफ में बता देता हू।

सफूरा ज़रगर जामिया की एक एक्टिविस्ट हैं जो एन्टी CAA प्रोटेस्ट में प्रमुखता से शामिल रहीं और उसका नतीजा यह हुआ कि पुलिस ने दिल्ली में दंगे भड़काने के आरोप में उन्हें अरेस्ट कर लिया। जिस दिन रमज़ान शुरू हुआ उसी रात सफूरा को अरेस्ट कर लिया गया था और सबसे बड़ी बात सफूरा प्रेंग्नेंट हैं। इसी बात को पहले सफूरा के साथियों ने मुद्दा बनाया कि एक प्रेंग्नेंट लड़की को राहत दी जानी चाहिए वगैराह वगैराह (मैं अभी उस बहस में पड़ना नहीं चाहता)।
पर पिछले दो दिन से बीजेपी का IT सेल सफूरा को अनमैरिड साबित करने पर तुला हुआ है, और उनके चरित्र पर सवाल खड़ा कर रहा है।

अब बात करते हैं #BoysLockerRoom की। यह कुछ स्कूली बच्चों का ग्रुप है, जो हरकतों से बच्चे तो कतई नहीं है। इन बच्चों ने इंस्टाग्राम पर एक ग्रुप बनाया हुआ है जिसका नाम बॉय्ज़ लाकर रूम है। ये लड़के उस ग्रुप में अपनी फीमेल दोस्तों की फोटोज़, न्यूडस अपलोड करते हैं और अपनी गंदी मानसिकता को शब्दों का रूप देकर वहां बाते करते हैं। ये लड़के उस ग्रुप में अंडर ऐज लड़कियों के बारे में भी वही भद्दी बातें करते है यहां तक कि उनका रेप करने तक की प्लानिंग करते हैं। मैं वो स्क्रीनशॉट्स नहीं डालूंगा पर आप इस हैशटैग पर क्लिक करके वहां पहुंच सकते हैं।

अब हम बात करते हैं इन दोनों घटनाओं के पीछे जुड़ी मानसिकताओं की। ये दोनों घटनाएं घोर स्त्री विरोधी हैं, दोनों के बीच एक ही सोच काम करती है, और वो है लड़की को ऑब्जेक्ट के रूप में देखना। हमारे समाज ने कभी लड़कियों को इंसान के रूप में देखा ही नहीं है। कभी उनको सेक्स ऑब्जेक्ट की तरह देखा तो कभी शोषण करने की नीयत से। सिर्फ अपनी माँ और बहन का महिमामंडन कर बाकि दुनिया की आधी आबादी को ऑब्जेक्टिफाई किया जाना ही कहीं न कहीं रेप का भी कारण बनता है। और ऐसे भद्दे कमेंट्स का भी।

हो सकता है सफूरा के साथ आपके राजनैतिक मतभेद हों तो क्या आप उसका चरित्र हनन करेंगे? और आपको यह हक किसने दिया कि आप उसे पूछे कि वो शादीशुदा है या नहीं? ये राजनीति का गिरा हुआ स्तर और महिला विरोधी मानसिकता ही है कि इस तरह के आरोप लगाए जा रहे हैं। मैं तो कहता हूं कि अगर वो शादीशुदा नहीं है तो भी यह उसकी निजी ज़िन्दगी है।

इसमें सबसे ज्यादा अचरज की बात तो यह है कि ट्विटर पर महिलाएं भी सफूरा के खिलाफ वही बात कह रही हैं जो मर्द कह रहे हैं।  और जो स्कूल के लड़कों ने लड़कियों के बारे में इंस्टाग्राम पर गन्ध फैलाया वो कतई उपर व्याख्यित ट्रोल्स से अलग नहीं हैं। इन दोनों की एक ही बलात्कारी मानसिकता है। जहां तक मैंने सुना है वो बच्चे साउथ दिल्ली के हैं, मतलब एलीट क्लास, तो मैं उन माँ-बाप को कहना चाहता हूं कि अपने बच्चों को प्राइवेसी देना ठीक है पर उन पर नज़र कौन रखेगा?

क्या बच्चों के 18 तक होने तक भी आप उनपर नज़र नहीं रखेंगे? प्राइवेसी के चक्कर में लड़के रेपिस्ट बन रहे हैं। उन्हें बचा लीजिए वरना राजनीति तो है ही उन्हें रेपिस्ट बनाने के लिए। जो उनकी संवेदनाओं को ख़त्म कर देती है, जो उन्हें एक ज़ॉम्बी बना देती है, जिसका काम है विरोधी खेमें की लड़की को रेप की धमकियां देना, उनका कैरेक्टर असैसिनेशन करना, उनके आपत्तिजनक फोटोज़ पोस्ट करना या उनके प्राइवेट फोटोज़ लीक करना यह सारी करतूतें रेपिस्ट मानसिकताएं ही हैं।

एक और बात जो मुझे याद आई वो है किसी के भी नाम के साथ #MKB लगा कर उसको ट्रेंड करवाना अब ये किस तरह की मानसिकता है? यह खेल पहले पाकिस्तान से शुरू हुआ और #PKMKB ट्रेंड होता था। अभी कुछ दिनों पहले बीजेपी वालों ने #RAGAKMKB ट्रेंड करवाया तो काँग्रेस के नमूने क्यों पीछे रहते उन्होंने भी मोदी की माँ को नहीं छोड़ा। उन्होंने भी करवा दिया #MODIKMKB अब कल देखा तो #TipuSultanKMKB चल रहा था।

अरे नीच लोगों क्या मानसिकता है रे तुम्हारी? अपनी माँ के कदमों में जन्नत, अपनी माँ देवी और दूसरों की माँ गलियों की वस्तु? कभी सोचा है विदेश में बैठा कोई व्यक्ति जो इत्तेफाक से भारत के ट्रेंड खोलकर देख ले तो वो क्या सोचता होगा? जिन लोगों ने महिलाओं के अधिकारों पर अपनी ज़िंदगी बिता दी उनपर क्या बीतती होगी? या मोदी या राहुल की माँ पर बीतती होगी जब उन्हें पता चलता है कि लाखों लोग एक साथ एक वक्त में प्लान बनाकर उन्हें गाली दे रहे हैं?

पर मैं कहता हूं कि इन ट्रेंड्स पर ट्वीट करने वाले लोग आने वाले रेपिस्ट हैं, उनके दिलों दिमाग में औरत की कोई वैल्यू नहीं है। आमतौर पर हम यह कह सकते हैं कि महिला आयोग को और सरकार को ऐसे लोगों पर एक्शन लेना चाहिए और चाहे एक लाख लोगों ने ट्वीट किया हो सभी को अरेस्ट करना चाहिए पर सरकार की मशीनरी ही ऐसे कामों में लिप्त रहे तब किस से यह एक्सपेक्ट करें?

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