बरेली
कोरोना की रिपोर्ट को लेकर शहर की संस्था माईपैडबैंक का कहना है कि रोजाना कुछ बरेली के गैर जिम्मेदार नागरिक कोरोना के आंकड़ों को सोशल मीडिया ( फेसबुक , वाट्सअप आदि) पर बिना किसी जाँच के वायरल करते है। यहाँ के नागरिक मीडियाकर्मियों से भी होड़ में रहते की पहले वह लोगो तक अपने आंकड़े पहुँचा दें, जिससे कई बार गलत आंकड़ों के वजह से आम जनता में घबराहट और डर की स्थिति बन जाती है, और अगले दिन अख़बार के माध्यम से सही रिपोर्ट पता चलती है।
माई पैडबैंक के अध्यक्ष चित्रांश बताते है कि कई बार मुझे खुद कुछ लोगों की तरफ से कोरोना की पूरी लिस्ट हर रात 9 – 9.30 तक प्राप्त होती है, जिसमे पॉजिटिव रिपोर्ट में हर आयुवर्ग की बहन बेटियां भी शामिल होती है, और उनके घर का पूरा पता व मोबाइल नंबर तक शामिल होता है, जो कि उनके लिए आने वाले समय मे परेशानी का कारण हो सकता है।
इस कोरोना जाँच की लिस्ट में सारी व्यक्तिगत जानकारी उपलब्ध होती है जो कि समान्य जनता तक नहीं जानी चाहिए।
टीम की श्रेया तोमर व सलिना खान निवेदन करती है कि सबसे पहले जो यह लिस्ट बना रहा है वह और जिला सी.एम.ओ ध्यान दें कि वह लिस्ट बाहर या किसी भी अनाधिकृत व्यक्ति तक ना जाये जो इसको वायरल करते है, तथा दोषी पाए जाने वाले पर उचित कार्यवाही करने की कृपा करें।
यह कदम बरेली की महिलाओं और बेटियों के लिए सकारात्मक होगा।
टीम प्रशासन से इस पहल पर सकारात्मक आश्वासन की उम्मीद करती है