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देश में पैर पसारता ओमिक्रोन वायरस

दुनिया पर कोरोना के नए ओमीक्रॉन वेरियंट का खतरा मंडरा रहा है। ओमीक्रॉन को लेकर पूरी दुनिया अलर्ट पर है। कई देशों में कोरोना के इस खतरनाक वेरिएंट के पाये जाने के बाद एक बार फिर दहशत का माहौल है।

देश में कोरोना वायरस के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन के मामले बढ़ने लगे हैं। कर्नाटक, महाराष्ट्र समेत कई राज्यों में ओमिक्रॉन के कई केस सामने आ चुके हैं। अब तक भारत में ओमिक्रोन के 30 से ज़्यादा मामलें सामने आए हैं, वहीं ब्रिटेन में गुरुवार को कोरोना वायरस के ओमिक्रॉन वेरिएंट से संक्रमित 249 और नए मामलों की पुष्टि हुई है।

ओमिक्रॉन से संक्रमित मामलों की संख्या में ब्रिटेन में एक दिन में दोगुनी बढ़ोतरी हुई है यानि ब्रिटेन में कुल 817 ऐसे मामले सामने आ चुके हैं।

ओमीक्रोन ने कैसे अस्तित्व पाया?

स्टडी के अनुसार, ओमीक्रोन का म्यूटेशन ऐसे किसी व्यक्ति में हुआ होगा, जो दोनों पैथोजेंस से संक्रमित था यानि जब SARS-CoV-2 के एक रूप से दूसरे वायरस का जेनेटिक सीक्वेंस पकड़ लिया और इसी के चलते ओमीक्रोन का जेनेटिक सीक्वेंस पहले के रूपों से मेल नहीं खाता है और ना ही उसके संक्रमण से हुए कोविड के लक्षण वायरस के पिछले वेरिएंट्स से मैच करते हैं।

यही जेनेटिक सीक्वेंस कई बार एक ऐसे कोरोना वायरस (HCoV-229E) में बार-बार नज़र आता है, जो आम सर्दी देता है।

सौंदर्यराजन के अनुसार, “ऐसा ही जेनेटिक सीक्वेंस AIDS देने वाले HIV वायरस में भी दिखता है।”

दक्षिण अफ्रीकी वैज्ञानिकों ने पहले इशारा किया था कि ओमीक्रोन शायद ऐसे इंसान के शरीर में पनपा, जिसका इम्युन सिसटम HIV या इम्युन सिस्टम को कमज़ोर करने वाली किसी अन्य बीमारी से पीड़ित था।

ओमीक्रोन के क्या है लक्षण?

ओमिक्रॉन से पीड़ित मरीजों में अपरिचित लक्षण देखे गए हैं। रोगियों में अत्यधिक थकान, मांसपेशियों में दर्द, गले में खराश और सूखी खांसी ज़्यादा देखी गई। वहीं,  कुछ रोगियों में तापमान थोड़ा ज़्यादा था।
ओमीक्रोन पर WHO ने चेतावनी दी और साथ ही भारत के साथ कई देशों ने लगाई हवाई यात्रा पर रोक। पिछले साल दिसंबर में ब्रिटेन में कोरोना के नए वेरिएंट का पता चला था, इसका नाम ग्रीक वर्णमाला के पहले अक्षर से लिया गया था।

इसके बाद बीटा, गामा और डेल्टा वेरिएंट भी आ गए, अब डब्ल्यूएचओ ने नए वेरिएंट का नाम ग्रीक अक्षर ओमिक्रॉन पर रखा है।

भारत में कितने संक्रमित?

भारत में शुरुआत में  दक्षिण अफ्रीका से फैले ओमिक्रोन वेरिएंट का कोई मामला सामने नहीं आया था लेकिन अब इसके 35 मामले भारत के अलग-अलग हिस्सों में सामने आ चुके हैं, इसे बेहद गंभीरता से लिया जाना ज़रूरी है।

नए वेरिएंट को लेकर सरकार की ओर से अहम बैठक बुलाई गई है।  माना जा रहा है कि इस बैठक में उड़ानों पर प्रतिबंध लगाने पर विचार भी किया गया है। कोरोना की पहली और दूसरी लहर झेल चुके भारत में संक्रमण फिलहाल काबू में है साथ ही वैक्सीनेशन की रफ्तार भी लगातार बढ़ रही है।

ओमिक्रोन दक्षिण अफ्रीका से निकल कर कई देशों में फैल चुका है।

नया वेरिएंट दक्षिण अफ्रीका में कई हफ्तों से फैल रहा है, अब डब्ल्यूएचओ ने भी इसे खतरनाक माना है

ये वेरिएंट अफ्रीकी देश दक्षिण अफ्रीका, बोत्सवाना पहुंच चुका है। वहीं, एशिया के देश हॉन्ग कॉन्ग में भी केस मिल गए हैं। मिडिल ईस्ट के इज़रायल और यूरोप के बेल्जियम में भी ओमिक्रोन पहुंच चुका है।

कोरोना के नए वेरिएंट ने पूरी दुनिया को फिर से सोचने पर मजबूर कर दिया है। तमाम देश अभी तक दक्षिण अफ्रीका की यात्रा पर प्रतिबंध लगा चुके हैं।

ऐसे देशों में इटली, ऑस्ट्रिया, फ्रांस, जापान, यूनाइटेड किंगडम, सिंगापुर, नीदरलैंड, माल्टा, मलेशिया, मोरक्को, फिलीपींस, दुबई, जॉर्डन, अमेरिका, कनाडा और तुर्की शामिल हैं।

ओमीक्रोन के खतरे पर क्या हैं विशेषज्ञों का कहना?

डॉक्टर जुगल किशोर ने बताया कि फिलहाल नए वेरिएंट को लेकर जो रिपोर्ट आ रही हैं उनके मुताबिक इस वेरिएंट से संक्रमित लोगों में हल्के लक्षण मिल रहे हैं। ऐसे में यह देखना होगा कि अगले एक से दो सप्ताह तक नए वेरिएंट के मरीज़ों की स्थिति कैसी रहती है।

अगर मरीज़ों की हालत नहीं बिगड़ती है, तो देश में ओमिक्रोन का खतरा ज़्यादा नहीं होगा, क्योंकि इस वेरिएंट से लोग संक्रमित भी होंगे तो उनमें हल्के लक्षण ही मिलेंगे। ऐसे में मरीज़ों का आसानी से घर पर भी इलाज हो जाएगा लेकिन अगर ओमिक्रोन में कुछ बदलाव आया और इसके लक्षण गंभीर हुए तो खतरा हो सकता है।

सफदरजंग अस्पताल के कम्युनिटी मेडिसिन विभाग के एचओडी डॉक्टर जुगल किशोर ने बताया कि अगर नया वेरिएंट देश में फैला, तो लोग इससे संक्रमित भी होंगे।

साथ ही 40 से अधिक उम्र वालों को रिस्क होगा लेकिन सबसे अधिक खतरा उन लोगों को होगा, जो पहले से ही किसी गंभीर बीमारी से जूझ रहे हैं।

संदर्भ :आज तक, नवभारत टाइम्स, आउट लुक, Tv9 भारतवर्ष

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